बैठक में जनप्रतिनिधियों तथा अधिकारियों के मध्य प्रारूप 2035 को लेकर विचार विमर्श हुआ
रतलाम । सोमवार को नगर तथा ग्राम निवेश विभाग द्वारा रतलाम विकास योजना प्रारूप 2035 को अंतिम रूप देने के लिए बैठक आयोजित की गई। बैठक में निर्णय लिया गया कि रतलाम शहर के सुनियोजित ढंग से विकास के संदर्भ में प्रारूप 2035 परफेक्ट तरीके से तैयार किया जाएगा। जनप्रतिनिधियों के सुझाव तथा संबंधित विभागों के समन्वय से विभिन्न बिंदुओं पर समुचित निर्णय लिए जाकर रतलाम विकास योजना प्रारूप 2035 तैयार किया जाएगा, उसके बाद शासन को प्रेषित करेंगे।
बैठक में शहर विधायक श्री चैतन्य काश्यप, जावरा विधायक राजेंद्र पांडे, रतलाम ग्रामीण विधायक श्री दिलीप मकवाना, कलेक्टर श्री गोपालचंद्र डाड, पुलिस अधीक्षक श्री गौरव तिवारी, अपर कलेक्टर श्रीमती जमुना भिड़े, निगमायुक्त श्री सोमनाथ झारिया, एसडीएम श्री अभिषेक गहलोत, नगर एवं ग्राम निवेश के संयुक्त संचालक उज्जैन तथा उज्जैन सहायक संचालक नगर एवं ग्राम निवेश श्री जी.एल. वर्मा तथा अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
बैठक के प्रारंभ में नगर एवं ग्राम निवेश विभाग द्वारा रतलाम विकास योजना प्रारूप 2035 का प्रजेंटेशन दिया गया। प्रारूप विभिन्न बिंदुओं में व्यापक विसंगतियों के दृष्टिगत जनप्रतिनिधियों द्वारा सिरे से खारिज कर दिया गया। विधायकगणों द्वारा इस बात पर सख्त आपत्ति ली गई कि प्रारूप 2035 तैयार करने में जनप्रतिनिधियों से कोई सुझाव प्राप्त नहीं किए गए, उन्हें कोई जानकारी भी उपलब्ध नहीं कराई गई। जनप्रतिनिधियों का कहना था कि प्रारूप तैयार करने में विभिन्न संशोधनों, भूमि उपयोग, विभिन्न स्थापना आदि बिंदुओं पर जनप्रतिनिधियों को जानकारी नहीं दी गई, उनसे सुझाव नहीं लिए गए है। इसके साथ ही संबंधित विभागों के अधिकारियों से समन्वय स्थापित करके आवश्यक बिंदुओं का समावेश किया जाना होगा।
कलेक्टर श्री डाड ने नगर तथा ग्राम निवेश के अधिकारी को निर्देश दिए कि रेलवे से लेकर उद्योग, नगर निगम, रतलाम विकास प्राधिकरण, हाउसिंग बोर्ड आदि विभागों के अधिकारियों से चर्चा की जाए। उनके मत तथा शहर हित में सुझाव लेकर ठोस ढंग से प्रारूप 2035 तैयार किया जाए। इसके पश्चात शहर विधायक श्री चैतन्य काश्यप तथा ग्रामीण विधायक श्री मकवाना के साथ बैठक आयोजित कर अंतिम रूप दिया जाए। प्रारूप 2035 के संदर्भ में शहर विधायक श्री काश्यप ने बैठक में कई सुझाव प्रस्तुत किए। रतलाम शहर के हित में सुनियोजित ढंग से मास्टर प्लान तैयार की जाने के लिए श्री काश्यप द्वारा विस्तृत चर्चा की गई। शहर तथा शहर के बाहर के हिस्सों में भूमि के उपयोग, सड़कों, बाईपास, उद्यानों की स्थापना, आवासीय तथा व्यवसायिक भूमि उपयोग आदि बिंदुओं पर महत्वपूर्ण सुझाव उनके द्वारा दिए गए।